poem by Umesh chandra srivastava
(१)
हिंदी में बिंदी का महत्व जान लीजिये ,
सुन्दर सलोने शब्द को पहचान लीजिये।
भाषा सुदृण है ज्ञान का अनमोल खज़ाना ,
ब्रह्माण्ड की भाषा बने यह ठान लीजिये।
औरों की बात और है ,सम्मान सभी का ,
है प्रेम शब्द का विविध विस्तार यहाँ पे ।
हिंदी में शब्द ढेर हैं अंग्रेजी में कहाँ ,
हिंदी हमारी माँ जननि , उत्थान कीजिये। (क्रमसः)
उमेश चंद्र श्रीवास्तव-
poem by Umesh chandra srivastava