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Sunday, August 12, 2018

सवाल पूछता हूँ

A poem of  Umesh chandra srivastava

सवाल पूछता हूँ ,
जवाब चाहिए।
बातों में न लुभाना ,
वह काम चाहिए।

कहा था तुम्ही ने ,
आयेंगे अच्छे दिन।
अब क्या हो रहा है ,
जवाब चाहिए।

बैठे वहां पर तुम ,
कहते वहां पर तुम।
चुनावों की बात का ,
हिसाब चाहिए।

बेटी पढ़ाया तुमने ,
बेटी बढ़ाया तुमने।
क्या हो रहा है अब ,
इंसाफ चाहिए।





उमेश चन्द्र श्रीवास्तव -
A poem of  Umesh chandra srivastava 

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